लक्ष्मी व पूजा को है आर्थिक मदद की दरकार, अनाथ की मदद करे राज्य सरकार

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पौडी गढ़वाल ताजा खबर उत्तराखंड की शासन प्रशासन से अपील,-कहते हैं जिसका कोई नहीं होता , उसका भगवान होता है और यह गांव – डांग , ग्रामसभा – किमवाड़ी , पट्टी – चौथान , थलीसैंण , पौडी गढ़वाल की इन दो बहिनों ने आज तक यह सिद्ध करके दिखाया है । बड़ी बहिन कुमारी लक्ष्मी , कक्षा १२ वीं इण्टर कॉलेज कठ्युड़खाल से प्रथम स्थान हासिल कर चुकी है , जबकि छोटी बहिन कुमारी पूजा खेल प्रतिभा की धनी , कक्षा ‌‌१० वीं कठ्युड़खाल में ही अध्ययन कर रही है । इन दोनों बच्चियों के ऊपर से मां-बाप का साया आज से लगभग ग्यारह साल पहले उठ गया था । उनके पिता जी स्वर्गीय श्री हीरा सिंह सरयू का निधन २००७ और माता जी श्रीमती पारी देवी का निधन २००९ में हो गया था । बालपन से ही दोनों अनाथ बच्चियों का लालन-पालन उनके चाचा जी श्री सुल्तान सिंह जी कर रहे हैं । श्री सुल्तान सिंह जी के खुद के भी चार बच्चे हैं और वे गांव में छोटी-मोटी नौकरी या ध्याड़ी-मजदूरी करके दो वक्त की रोटी कमाते हैं , और उसी कमाई से , सभी का भरण पोषण इस मंहगाई के दौर में जैसे-कैसे कर रहे हैं । आज तक न तो विद्यालय की ओर से इन दोनों अनाथ और होनहार बच्चियों को शुल्क में कोई रियायत दी गई और ना ही किसी प्रकार की आर्थिक सहायता ।
बड़ी विडंबना है कि डांग गांव की इन दो अनाथ बच्चियों के परिवरिश करने हेतु न तो , किसी समाज सेवी के हाथ आगे बढ़े हैं , न तो किसी जन प्रतिनिधि ने कोई ठोस कदम उठाए हैं चाहे वो ग्रामप्रधान हो , या क्षेत्र पंचायत सदस्य हो , या जिला पंचायत सदस्य हो , या माननीय विधायक या प्रशासन

लेकिन अफसोस , एक ही घर की दो अनाथ बेटियां ऐसी भी हैं जो , पिछले कई सालों से ठिठुरती ठंड में , मां-बाप के लाड प्यार से बंचित , गरीबी की छाया में समय को खिसकाने की कोशिश में लगे हैं । यह एक किताबी कहानी नहीं बल्कि आंखों देखी हकीकत है ।

अब मैं आप सभी क्षेत्र वासियों का ध्यान , क्षेत्र की दो ऐसी अनाथ बेटियों की ओर ले जा रहा हूं जहां से आप सभी को सोचने के लिए मजबूर होना ही होगा कि क्या हमें मात्र अपनी खुशियों तक ही सीमित रहना है कि , उनके बारे में भी सोचना है जो हम से बहुत कुछ उम्मीद और आशाएं लगाए बैठे हैं । हम ने २०२० नयी सदी में कदम रख लिए हैं लेकिन , हकीकत यह है कि हम पाषाण काल में ही जी रहे हैं । इन दो बेसहारा बहिनों की कहानी यही बयां कर रही है :-
ऐसे न जाने कितने बच्चे , जवान , बुजुर्ग , महिला-पुरुष , हमारे क्षेत्र में हैं जो , मानसिक अस्वस्थता , विकलांग , दिव्यांग , अपाहिज , अर्द्ध विकसित , विधवा और बुजुर्ग हैं जिन्हें सरकार मदद हेतु पेंशन एवं अन्य कल्याणकारी सुविधाएं तो देना चाहती है लेकिन , अज्ञानता और अनभिज्ञता के कारण हमारे जन प्रतिनिधि उन कल्याणकारी योजनाओं का फायदा अपने क्षेत्र वासियों के लिए नहीं उठा पा रहे हैं ।

ताजा खबर उत्तराखंड इन दोनों अनाथ बच्चो की आर्थिक सहायता और आजीवन पेंशन के जनप्रतिनिधियों और प्रशासन से करता है,

रिपोर्ट इंद्रजीतअसवाल जिला पौड़ी

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